खेल मंत्रालय ने चुनाव के महज़ तीन दिन बाद ही कुश्ती संघ को सस्पेंड किया

नई दिल्ली : आज़ से क़रीब एक साल पहले शुरू हुआ कुश्ती संघ और खिलाड़ियों के बीच का विवाद थमने का नाम ही नहीं ले रहा है. 21 दिसंबर हुए कुश्ती संघ के चुनाव में पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के क़रीबी एवं बिज़नेस पार्टनर संजय सिंह प्रेसिडेंट बने थे. जिससे नाराज़ होकर ओलिम्पिक मेडलिस्ट साक्षी मलिक ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कुश्ती छोड़ने का एलान कर दिया था तथा पद्मश्री पुरुस्कार से सम्मानित बजरंग पुनिया ने अपना पुरुस्कार वापस सरकार को सौंप दिया था. लेकिन अब एक फ़िर नया मोड़ आया है यहां तीन दिन पहले चुने गए संघ को आज खेल मंत्रालय द्वारा सस्पेंड कर दिया गया.

आइए समझते हैं पूरा मामला
भाजपा के बाहुबली सांसद एवं कुश्ती संघ के पूर्व अध्यक्ष ब्रजभूषण शरण सिंह पर साक्षी मालिक, गीता फोगाट समेत कई खिलाड़यों ने उन पर यौन शोषण का आरोप लगाया था. जिसको लेकर उन्हें कई सारे विवादों का भी सामना करना पड़ा था तथा खिलाड़ियों ने इसके विरुद्ध जंतर मंतर पर धरना प्रदर्शन भी किया था. हालांकि उस समय सरकार के आश्वासन के बाद अनशन को समाप्त कर दिया गया. उसके साथ ही ब्रजभूषण शरण सिंह ने कुश्ती संघ के अध्यक्ष पद से इस्तीफा भी दे दिया था. इस सबके बाबजूद भी ब्रजभूषण के ऊपर किसी भी प्रकार का कोई आरोप सिद्ध नहीं हो पाया. लेकिन कानूनी कार्यवाही इसी प्रकार चलती रही और अंत मे यह निश्चित किया गया कि कुश्ती संघ के चुनावों को दोबारा आयोजित कराया जाएगा. 21 दिसंबर को हुए संघ के चुनाव में ब्रजभूषण के करीबी संजय सिंह चुनाव जीते और उन्हें 40 वोट मिले लेकिन विरोधी प्रत्याशी को केवल सात वोट से ही संतोष करना पड़ा. संजय सिंह के चुनाव जीतने के बाद ही साक्षी मलिक ने कुश्ती को अलविदा कह दिया था. लेकिन अब 24 दिसंबर को खेल मंत्रालय ने कुश्ती संघ को सस्पेंड कर दिया जिसकी एक वज़ह अभी सामने आ रही है कि संजय सिंह ने चुनाव जीतने के तुरंत बाद ही जल्दबाजी में जूनियर नेशनल चैंपियनशिप की घोषणा कर दी थी जिसका आयोजन 28 दिसंबर को गोंडा में होना था. हालांकि खिलाड़ियों ने इसका विरोध किया था उनका कहना था कि संघ के नियमों के अनुसार के आप प्रतियोगिताओं का आयोजन तभी करा सकते हैं जब आप खिलाड़ियों को 15 दिन पहले इसकी जानकारी न दे दें. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इसी वज़ह से संघ को संघ को सस्पेंड कर दिया गया. हालांकि संजय सिंह का कहना है कि उनके लिए यह फ़ैसला चौंकाने वाला है लेकिन उनके लिए यह पद नही खेल मंत्रालय पहले है.

साक्षी और बजरंग अपने निर्णय पर पुनर्विचार करेंगे
संजय सिंह की टीम को सस्पेंड करने के बाद सूत्रों के हवाले से यह ख़बर आ रही है कि साक्षी मलिक जिन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कुश्ती छोड़ने का एलान कर दिया था वह अब अपने फ़ैसले पर पुनर्विचार कर सकती हैं एवं बजरंग भी जिन्होंने पद्मश्री बापस कर दिया था वह अपना पुरुस्कार वापस ले सकते हैं.


 

 

About आदित्य हृदय

आदित्य हृदय नवोदित पत्रकार हैं. सामाजिक मुद्दों में विशेष रुचि रखते हैं.

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